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इस तरह हुयी थी पत्नी मंजिरी से टीवी एक्टर राजीव खंडेलवाल की पहली मुलाकात, बताया किस्सा 

2003 में एकता कपूर के सीरियल 'कहीं तो होगा' में सूजल के किरदार से राजीव खंडेलवाल घर- घर पॉपुलर हुए थे. इसके बाद राजीव कुछ फिल्मों में, टीवी शोज और रियलिटी शोज में नजर आये. हाल ही में ई टाइम्स के साथ बातचीत में राजीव ने पत्नी मंजिरी के साथ अपनी लव स्टोरी पर बात की. 

वेबसाइट से बातचीत में राजीव ने पत्नी मंजिरी के साथ अपनी खूबसुरता जर्नी पर बात करते हुए बताया, 'जैसे कि हम बोलते हैं. वो और मैं गोवा में है. मेरी शादी खूबसूरत रही है. मंजिरी बहुत अच्छी इंसान है और मेरे पास ससुराल का बड़ा अच्छा सेट है. वह एक हैप्पी सोल है. बात आगे बढ़ाते हुए राजीव ने कहा मंजिरी वो इंसान है जिसे वह अपने जीवन में चाहते थे. क्यूंकि वह भी मेरी तरह ज्यादा नहीं सोचती है. हमें एक- दुसरे के समय समय बिताना अच्छा लगता है. 

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अपनी लव स्टोरी के बारे में बात करते हुए राजीव ने बताया कि वह मंजिरी की बड़ी बहन ममता से कहते थे कि वो उन्हें और मंजिरी को मिलने दे. उन्होंने कहा, मैं मंजिरी की बड़ी बहन को जनता हूं और मैं उनसे मजाक करता था कि वह मुझे और अपनी छोटी बहन को मिलने दे. एक बार मंजिरी मुंबई में थी और ममता ने मुझे आने के लिए कहा. मैंने उनसे कहा कि मैं मजाक कर रहा था लेकिन उन्होंने कहा कि वो मजाक नहीं कर रही थी. मैं जल्दी से जगह पर पहुंच गया. यहीं पर पहली बार मैंने मंजिरी को देखा. वह मिथुन दा, बच्चन साहब और धर्मेंद्र के गानों पर डांस कर रही थी.  

राजीव ने आगे बताया, 'इसके बाद वह मिलते रहे. एक दिन एक जर्नलिस्ट ने मुझे फ़ोन कर कहा की उनके पास मेरी गर्लफ्रेंड की सारी डिटेल्स है. मैं उस स्टोरी पर रोक लगाना चाहता था लेकिन नहीं हो पाया. ममता और मंजिरी रोने लगी कि उनके माता- पिता को मेरे और मंजिरी के बारे में कुछ नहीं पता था. मैंने उनसे उनके पिता का नंबर मांगा लेकिन उन्होंने कहा कि वो पहले उन्हें सबकुछ बताएंगी. 

राजीव ने आगे बताया कि उन्होंने किसिस तरह मंजिरी के फ़ोन से उनके पिता का नुम्बे चुरा लिया. उन्होंने आगे कहा, ' मैंने उनके पिता का नंबर चुरा लिया और तड़के सुबह उन्हें टेक्स्ट किया, 'सर, मैं राजीव खंडेलवाल हूं. कल आप मुंबई मिरर में इस तरह की खबर पड़ेंगे. मैं अपने लिए खड़ा होना चाहता हूं. यह मेरा नंबर है. बेझिझक होकर मुझे संपर्क करे. आपसे मिलने में मुझे ज्यादा खुशी होगी. मंजिरी के पिता ने उस मैसेज की सराहना की और उन्हें पता चला कि मैं किस तरह का इंसान हूं. 

 

(Source: E- Times)

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