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क्या भारत के पहले आईटी कपल की स्टोरी बताएंगी अश्विनी अय्यर तिवारी ?

'बरेली की बर्फी' की निर्देशिका अश्विनी अय्यर तिवारी की अगली फिल्म भारत के पहले आईटी कपल नारायणा और सुधा मूर्ति पर फिल्म बनाएंगी.अश्विनी की पिछली फिल्म कंगना रनौत स्टारर 'पंगा' थी, जिसकी शूटिंग उन्होंने पिछले महीने पूरी की. मुंबई मिरर की खबर के अनुसार निर्देशिका इनफ़ोसिस के को- फाउंडर नारायणा और उनकी लेखिका पत्नी सुधा मूर्ति पर अगली फिल्म बनाएंगी. फिल्म को अश्विनी के पति नितेश तिवारी, महावीर जैन और खुद अश्विनी मिलकर प्रोड्यूस करेंगी. 

रिपोर्ट्स की अनुसार अश्विनी ने कहानी के लिए रिसर्च करना भी शुरू कर दिया. इस कहानी से जुड़े वह सभी तथ्यों को दर्शाकों के सामने दिखाना चाहती है. बता दें, ऐसा कहा जाता है कि नारायण मूर्ति ने अपनी पत्नी सुधा से 10 हजार रुपए उधार लेकर देश की दूसरी सबसे बड़ी आईटी कंपनी इंफोसिस की नींव रखी थी. सुधा मूर्ति की इंफोसिस कंपनी की स्थापना में अहम भूमिका रही है. उनकी बचत के दस हजार रुपए से इस कंपनी की नींव रखी गई थी. उस वक्त इनके पास इतने पैसे भी नहीं थे कि कंपनी के लिए कोई कमरा भी किराए पर ले सकें. शुरू होने के 6 महीने बाद 2 जुलाई, 1981 को कंपनी का रजिस्ट्रेशन इंफोसिस प्राइवेट लिमिटेड के नाम से हुआ, जिसमें ऑफिस का पता मूर्ति के दोस्त और कंपनी में पार्टनर राघवन के घर का दिया गया. हालांकि, मूर्ति के घर के अगले भाग में स्थित कमरा ही उनका इंफोसिस का ऑफिस था.

 1981 में नारायण मूर्ति, नंदन नीलेकणी, एस गोपालकृष्णन, एसडी शिबुलाल, के दिनेश और अशोक अरोड़ा ने पटनी कंप्यूटर्स छोड़कर पुणे में इंफोसिस कंसल्टेंट प्राइवेट लिमिटेड की शुरुआत की थी. 1983 में उन्हें न्यूयॉर्क की कंपनी डेटा बेसिक कॉर्पोरेशन से पहला ऑर्डर मिला था. फिलहाल, कंपनी के कर्मचारियों की संख्या 50 हज़ार से अधिक है और 12 देशों में कंपनी की शाखाएं हैं.

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