भाई-भतीजावाद बहस और सोशल मीडिया ट्रोलिंग के प्रति नाराजगी जताते हुए सोनाक्षी सिन्हा ने कुछ दिन पहले हमेशा के लिए ट्विटर को बाय कह दिया. नेगेटिविटी को दूर रखने के लिए सोनाक्षी ने अपना इंस्टाग्राम कमेंट सेक्शन भी बंद कर दिया है. एक इंटरव्यू में ट्विटर दूरी बनाने के मुद्दे पर बात करते हुए कहा वो ट्विटर से दूर होकर खुश है और अब इसमें नहीं आना चाहती हैं.
सोनाक्षी ने कहा, 'ट्विटर एक प्लेइंग ग्राउंड बन गया हैं जहां लोग बिना किसी डर के किसी भी चीज के बारे में बोलते हैं. यह वैसे नहीं है जिसे मैं अपने जीवन में चाहती हूं. हम हकीकत से ज्यादा इंटरनेट पर ज्यादा समय बिताते हैं इसलिए मुझे लगता है कि उन्हें हकीकत में साफ़ होना चाहिए. यही कारण है कि मैंने उसे बंद कर दिया. मेरी लाइफ बेहतर के लिए बदल गयी हैं. इसलिए मुझे कोई शिकायत नहीं है. इंस्टाग्राम पर मैंने पाना कमैंट्स सेक्शन भी ऑफ कर दिया है.'
नेपोटिज्म पर बात करते हुए सोनाक्षी ने कहा, 'कोई भी इंसान अपने बारे में गालियां सुनना पसंद नहीं करता. उन्होंने बताया कि इस मुद्दे को बहुत ज्यादा बनाया गया और बहुत सारे लोग गुस्से में है. स्टारकिड्स भी दुसरे लोगों की तरह मेहनत करते हैं ये कहते हुए सोनाक्षी ने कहा कि उनपर अटैक करना बहुत दुःख की बात है. दबंग गर्ल का कहना है जब ऑडिएन्स ने उन्हें स्वीकार किया है तो उन्हें उनकी इज्जत करनी चाहिए.
Watch: साइबर बुलिंग और ऑनलाइन हैरेसमेंट के खिलाफ मैदान में उतरी सोनाक्षी सिन्हा, कहा- 'अब इन पर फुलस्टॉप लगाने का टाइम आ गया है'
सोनाक्षी ने बताया, 'एक फ़िल्मी परिवार से होना आपकी पहली मुलाकात, पहला ऑडिशन और पहली फिल्म में मदद हो सकती है लेकिन उसके बाद क्या?. कोई किसी को बना या बिगाड़ सकता है, मुझे माफ़ कीजिये लेकिन दर्शकों के अलावा कोई किसी को बना या बिगाड़ नहीं सकता. आज हम सब यहां हैं क्योंकि हमारे दर्शकों ने हमें स्वीकार किया है फिर चाहे वो इनसाइडर हो या आउटसाइडर हो. अगर दर्शक उन्हें स्वीकार नहीं करेंगे उनका करियर कहीं नहीं जायेगा तो स्टारकिड्स पर अटैक करना दुःख की बात है. हम उतनी ही मेहनत करते हैं जीतनी बाकी लोग करते हैं.
फ़िल्मी फैमिली से होने के बावजूद इंडस्ट्री में अपनी जगह बनाने के लिए उन्हें कितनी मेहनत करनी पड़ी इस बारे में बात करते हुए सोनाक्षी ने कहा, ''मेरे पिता ने कभी भी किसी को फोन नहीं किया और किसी भी निर्माता को यह नहीं कहा- मेरी बेटी को अपनी फिल्म में ले लो. मुझे यह बहुत मनोरंजक लगता है कि ये शब्द नेपोटिज़्म उन शख्स ने इंटरड्यूस और सेंसलाइज्ड किया है, जिनकी बहन उनके काम का मैनेजमेंट कर रही है। मुझे नहीं लगता कि मैं वास्तव में इसे और अधिक महत्व देना चाहती हूं.'