रविवार को भारत सरकार पर बरसने के बाद महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना की रैली में राज ठाकरे बॉलीवुड पर भी जमकर बरसे.अपने विवादित बोलों के लिए चर्चित राज ने बॉलीवुड से जुड़े कई मौजूदा मुद्दों पर फिल्म इंडस्ट्री के कलाकारों को आड़े हाथों लिया.उन्होंने श्रीदेवी के अंतिम संस्कार में उन्हें दिए गए राजकीय सम्मान की भी आलोचना की और ये आरोप लगाए कि श्रीदेवी की मौत को ज्यादा कवरेज देना सोची-समझी साजिश थी ताकि मीडिया अटेंशन को वहां डाइवर्ट कर पंजाब नेशनल बैंक और नीरव मोदी स्कैम से ध्यान खींचा जा सके.
दादर के शिवाजी पार्क में हुई इस रैली में राज ने आगे कहा,श्रीदेवी बहुत अच्छी अदाकारा थीं लेकिन उन्होंने देश के लिए ऐसा क्या किया था जो उन्हें तिरंगे में लपेटकर अंतिम विदाई दी गई?जब उनकी मौत हुई तब नीरव मोदी के घोटाले की चर्चा थी लेकिन झट से सब श्रीदेवी पर चर्चा करने लगे.जब श्रीदेवी जैसी किसी पर्सनालिटी की मौत होती है तो उन्हें तिरंगे में ये कहकर लपेट दिया जाता है कि उन्हें पद्मश्री मिला था.ये पूरी तरह से महाराष्ट्र सरकार की गलती है.दरअसल,मीडिया पर बीजेपी की सरकार का दबाव था ताकि लोगों का ध्यान नीरव मोदी घोटाले से हटाया जा सके.हालांकि,ठाकरे के इन बोलों से कुछ लोगों की भावनाएं आहात भी हुई हैं.
लोगों को किसी मृत महिला के बारे में ऐसा सुनकर अच्छा नहीं लगा लेकिन ठाकरे यहीं नहीं रुके और उन्होंने टॉयलेट एक प्रेम कथा और पैडमैन जैसी फिल्मों को सरकार की योजनाओं को बढ़ावा देने का ख़ुफ़िया प्रोपोगंडा करार दिया.उन्होंने कहा,इन दोनों फिल्मों में नजर आनेवाले अक्षय कुमार मनोज कुमार के नक्शेकदम पर चलने की कोशिश कर रहे हैं जिन्हें कभी भारत कुमार की उपाधि दी गई थी.
अक्षय तो एक इंडियन सिटिजन तक नहीं हैं.उनके पास कनाडा का पासपोर्ट है.यहां तक कि विकिपीडिया भी उन्हें इंडियन बोर्न कनाडियन एक्टर करार देता है. वैसे पिछले साल इस बारे में पूछने पर अक्षय कुमार ने कनाडा के पासपोर्ट पर अपनी प्रतिक्रिया देते हुए कहा था,यह केवल मानद(सम्मान)स्थिति है.